ईस्टर पर हुए धमाका में 11 भारतीयों समेत कुल 253 लोगों की मौत हुई थी, जबकि 500 से अधिक घायल हुए थे.
श्रीलंका ने ईस्टर पर हुए बम धमाकों के बाद देश में रह रहे आतंकियों के साथ कट्टरपंथियों पर भी शिकंजा कसना शुरू कर दिया है. रिपोर्ट के मुताबिक, श्रीलंका ने अब तक 200 मौलवियों समेत 600 से ज्यादा विदेशी नागरकिों को देश निकाला दिया है. देश निकाला पाने वाले लोगों भारत, बांग्लादेश, पाकिस्तान और मालदीव के मुस्लिम धर्मगुरुओं और नागरिक शामिल हैं. बता दें कि ईस्टर पर हुए धमाका में 11 भारतीयों समेत कुल 253 लोगों की मौत हुई थी, जबकि 500 से अधिक घायल हुए थे.
वीजा खत्म होने के बाद भी रह रहे थे
श्रीलंका के गृह मंत्री वाजिरा अभयवर्धने ने बताया कि देश से निकाले गए मौलाना आए तो वैध रूप से थे, मगर अब सुरक्षा जांच में पाया गया कि उनके वीजा खत्म होने के बावजूद देश में रुके थे. श्रीलंका सरकार ने इन मौलानाओं को जुर्माना लगाकर देश से निकाल दिया है.
फाइल फोटो
वाजिरा ने इसके साथ ही कहा कि हमने देश में वीजा प्रणाली की समीक्षा करना शुरू कर दिया है. हम अब धार्मिक शिक्षकों के लिए वीजा प्रतिबंध को कड़ा करने का निर्देश दिया है.
बता दें बीते 21 अप्रैल को तीन चर्च और तीन होटलों में किए गए विस्फोट में 253 लोगों की मौत हो गई थी. इस भीषण आतंकी हमले के बाद श्रीलंका में सोमवार से एक बार फिर से स्कूल और कॉलेज खुल जाएंगे. इस हमले को 9 आत्मघाती हमलावरों ने अंजाम दिया था.
श्रीलंका की राजधानी कोलंबो में हुए 8 सीरियल बम धमाकों ने पूरी दुनिया को दहला दिया था. इन धमाकों के पीछे 'नेशनल तौहीद जमात' आतंकी संगठन का हाथ सामने आया. तौहीद जमात एक इस्लामिक चरमपंथी संगठन है.