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Saturday, 17 September 2016

बिजनौर वाकीया पुरा परहै


ईद पर घर गया था एहसान, बेटी से छेड़छाड़ का विरोध किया तो हुई लड़ाई, गई जान

Posted: 17 Sep 2016 02:42 AM PDT

बिजनौर। बिजनौर में शुक्रवार को हुई हिंसा में एक परिवार के तीन लोगों की मौत हो गई और 12 लोग जख्मी हो गए। पुलिस के मुताबिक, कुछ हिंदू लड़कों ने कुछ मुस्लिम लड़कियों के लिए अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया था जिसके बाद हिंसा भड़क गई। 

यह घटना बिजनौर के पेदा गांव की है। पुलिस ने बताया कि जिन लोगों की मौत हुई है वह लड़की के परिवार के ही हैं। उनका नाम हसीनूद्दीन (50), सरफराज (17) और एहसान (36) है। इसके अलावा 8 लोग जख्मी हैं। बरेली जोन के आईजी विजय सिंह मीणा ने बताया कि बस स्टैंड पर कुछ लड़कियों के साथ छेड़खानी हुई थी। उसके बाद हिंसा हुई। 

मीणा ने कहा, ‘जिस परिवार के लोगों की मौत हुई है उनका कहना है कि लड़कियों से छेड़छाड़ हुई। दोनों समुदायों के बीच लड़ाई भी हुई थी लेकिन लोगों ने बीच बचाव करवाकर सबको शांत करवा दिया था।’

लेकिन इसके बाद रात को तकरीबन 8:30 बजे जाट समुदाय के तकरीबन 100 लोगों ने पेदा गांव को चारों तरफ से घेर लिया था और मुस्लिम परिवार के एक शख्स पर फायर कर दिया था। इस मामले में अबतक पुलिस ने 6 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज करके उन्हें पकड़ लिया है। साथ ही तीन पुलिसवालों को ठीक से ड्यूटी ना करने के लिए सस्पेंड भी कर दिया गया है। वे गोलियां चलने के वक्त मौके पर मौजूद थे।

जनसत्ता के अनुसार हसीनुद्दीन के 18 साल के बेटे तालिब खान ने बताया कि वह अपनी चचेरी बहन को स्कूल छोड़ने जा रहा था तब ही कुछ लोगों ने कमेंट पास किए थे। वह तो उन्हें अनसुना करके चला गया था लेकिन उसके चाचा को वह बात पता चल गई और वहा वहां पहुंच गए। जब तालिब वापस आया तो उसने देखा कि उसके चाचा और उन लड़कों के बीच लड़ाई हो रही थी। जिन लोगों की मौत हुई है उनमें से हसीनुद्दीन पेंटर था। एहसान दिल्ली में एक नाई की दुकान पर काम करता था और ईद के लिए घर आया हुआ था। वहीं सरफराज दसवीं क्लास में पढ़ता था।

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